Saturday, February 11, 2017

भरसक प्रयासों के बावजूद अखिलेश यादव हिन्दू शेर ठा0 संगीत सोम को जीतने से रोक पाए ?


सरधना सीट पर संगीत सोम को हराने को मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने अपनी प्रतिष्ठा से जोड़ लिया था और इस काम के लिए वो पिछले 5 साल से अपने सिपहसालार अतुल प्रधान को तैयार कर रहे थे,
क्या सफल हुए अखिलेश अपनी योजना में या हिन्दू शेर ने उन्हें चित कर दिया????

सरधना सीट का रुझान----
सरधना सीट पर संगीत सोम को हराने को मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने अपनी प्रतिष्ठा से जोड़ लिया था और इस काम के लिए वो पिछले 5 साल से अपने सिपहसालार अतुल प्रधान को तैयार कर रहे थे,
क्या सफल हुए अखिलेश अपनी योजना में या हिन्दू शेर ने उन्हें चित कर दिया????

पेश है सरधना का आज के मतदान का रुझान---

सरधना में आज मुस्लिम मतदाता भर्मित नजर आया,कहीं बसपा के इमरान कुरैशी का जोर रहा तो कहीं अतुल प्रधान का जोर रहा।
मुस्लिम वोट लगभग बराबर दो जगह बंट गया,

मुस्लिम वोट सपा को जाता देखकर न्यूनतम 25% दलित बीजेपी के पाले में जुड़ गया जिससे संगीत सोम को दलितों के 10 हजार वोट मिल गए,

राजपूत बाहुल्य गाँवो खेड़ा, रार्धना, सलावा आदि जगह राजपूतो ने समझा बुझाकर येन केन प्रकारेण कुछ मुस्लिम वोट भी सोम के पक्ष में डलवा लिए, वहीँ कुछ मुस्लिम राजपूतो ने भी संगीत सोम को वोट दिया।

सैनी मतदाता जबरदस्त ढंग से संगीत सोम के पक्ष में एकजुट रहे।

जाट मतदाता उम्मीद के मुताबिक संगीत सोम को नही मिले, पर अतुल प्रधान को और इमरान कुरैशी को भी नही मिले,

गुज्जर वोट 90% अतुल प्रधान पर और 10% संगीत सोम को मिला,

राजपूत बाहुल्य गाँवो में जबरदस्त मतदान हुआ, कई गांव में 90% तक पोल हो गया,
राजपूतो के गाँवो से ही सोम को 60 हजार से ज्यादा वोट सर्वसमाज की मिल जाएंगी।
राजपूत वोटों में अतुल प्रधान ने लगभग 4000 वोट की सेंधमारी जरूर की।

त्यागी, वैश्य, ब्राह्मण अतिपिछड़ा आदि शेष हिन्दू समाज में संगीत सोम को 80% तथा सपा के अतुल प्रधान को 20% वोट मिला।

इस प्रकार---
संगीत सोम की सरधना में लगभग 1 लाख 40 हजार न्यूनतम वोट है।
इनमे से 45 हजार ठाकुर हैं जिनमे 90% तक मतदान का लक्ष्य रखा गया था।संगीत की वोटो की पोलिंग अगर 80% तक भी होती है तो 1.20 लाख वोट होते हैं।

विरोधी वोट लगभग 2 लाख जिनमे 1 लाख से ऊपर मुस्लिम, लगभग 60 हजार दलित और 33 हजार गूजर हैं। इनमे 10 हजार दलित और 3 हजार गूजर भी संगीत की वोट हैं।

बाकी वोट इमरान और अतुल में बंटा है।
बहुसंख्यक दलित इमरान और बहुसंख्यक गूजर अतुल को। मुसलमान वोट दोनों में बंटा है।

अगर इमरान को बहुसंख्यक दलित के साथ 80% भी मुसलमान भी मिले है तो भी 75% वोटिंग के अनुसार 90 हजार के आसपास ही पहुँचते हैं। हालांकि इतनी मुसलिम वोट नही मिली उसे।

और कोई समीकरण भी नही जिससे संगीत हार सकता है। संगीत सोम के वोट में थोड़ी बहुत सेंध भी लगती है तो भी न्यूनतम 20 हजार वोट से जीत होगी,

वैसे संगीत सोम की जीत कम से कम 30 हजार वोट से होगी, अतुल प्रधान अखिलेश यादव द्वारा पूरा जोर लगाए जाने के बाद भी लगातार दूसरी बार हारेगा।
यह हार मुख्यमंत्री अखिलेश की व्यक्तिगत हार होगी।

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